यहां करीब 600 भारतीय श्रमिक मुश्किल में फंसे हैं। उन्हें छह महीने से तनख्वाह नहीं मिली। पैसा मांगने पर उन्हें नौकरी से हटा दिया गया। अब इनके वीजा की अवधि भी खत्म हो गई है। ऐसे में ये लोग शिविरों में बदहाली में रह रहे हैं। इन मजदूरों को कतर में 2022 में होने वाले फुटबॉल विश्वकप की तैयारियों के काम में लगाया गया था।
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